नई दिल्ली,। जल्द ही कांग्रेस एक नए पार्टी अध्यक्ष का चुनाव करने के लिए अखिल भारतीय कांग्रेस समिति (AICC) का एक सत्र बुलाने का फैसला करेगी। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सत्र बुलाने के मुद्दे पर चर्चा के लिए वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं से अगले सप्ताह मिलने की उम्मीद है। मालूम हो कि लोकसभा चुनाव में पार्टी की करारी हार की जिम्मेदारी लेते हुए राहुल गांधी ने जुलाई 2019 में राष्ट्रपति पद से इस्तीफा दे दिया था, तब से पार्टी अध्यक्ष का पद खाली है।
हालांकि राहुल के इस्तीफे के बाद अगस्त 2019 से सोनिया गांधी ने पार्टी के अंतरिम अध्यक्ष के रूप में कार्यभार संभाला, लेकिन वरिष्ठ नेताओं को पूर्णकालिक अध्यक्ष चुने जाने के मुद्दे पर समय-समय पर आवाज उठती रही है। पिछले दिनों पार्टी के 23 नेताओं ने सोनिया गांधी को पत्र लिखकर पार्टी में आमूलचूल परिवर्तन का अनुरोध किया। नेताओं ने कांग्रेस में जमीनी स्तर से कांग्रेस कार्य समिति में बदलाव की मांग की। कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव अभी तक नहीं किया गया है, इसके बावजूद पार्टी के इन वरिष्ठ नेताओं ने राष्ट्रपति पर अपने विचार रखे।
पिछले दिनों सोनिया गांधी ने पार्टी की दुर्दशा को रोकने के लिए वरिष्ठ नेताओं की एक बैठक बुलाई, जिसमें राहुल गांधी से लेकर अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य और अन्य अधिकारी मौजूद थे। बैठक के बाद, नेताओं ने बताया था कि सभी नेता चाहते थे कि राहुल पार्टी की बागडोर संभालें। इस पर राहुल गांधी ने कहा कि पार्टी अध्यक्ष का मुद्दा चुनावी प्रक्रिया पर छोड़ दिया जाना चाहिए। वहीं, सोनिया गांधी ने कहा कि मौजूदा समय में सभी को एकजुट होकर संगठन को मजबूत करने की जरूरत है।
बैठक के बाद, पार्टी के वरिष्ठ नेता पवन कुमार बंसल ने संवाददाताओं से कहा कि कांग्रेस एक बड़ा परिवार है, जिसे और मजबूत करने की जरूरत है। राहुल ने पार्टी को मजबूत करने के लिए मिलकर काम करने की भी अपील की। बंसल ने यह भी कहा था कि राहुल के दोबारा अध्यक्ष चुने जाने पर किसी को कोई समस्या नहीं है। वहीं, रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि 99.9 प्रतिशत कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं का मानना है कि केंद्र में नरेंद्र मोदी सरकार को केवल राहुल गांधी ही चुनौती दे सकते हैं।